October 29, 2013

मैंने शायद तुम्हें पहले भी कहीं देखा है (बरसात की रात-1960) Maine sayad tumhe pahle bhi kahin dekha hai (Barsaat ki Raat -1960)

मैंने शायद तुम्हें पहले भी कहीं देखा है
अजनबी सी हो मगर गैर नहीं लगती हो
वहम से भी जो हो नाज़ुक वो यकीं लगती हो,
हाय ये फूल सा चेहरा, ये घनेरी ज़ुल्फ़ें
मेरे शेरों से भी तुम मुझको हंसीं लगती हो । 

देखकर तुमको किसी रात की याद आती है
एक ख़ामोश मुलाक़ात की याद आती है,
ज़ेहन में हुस्न की ठंडक का असर जागता है
आंच देती हुई बरसात की याद आती है । 

जिसकी पलकें मेरी आँखों पे झुकी रहती हैं
तुम वही मेरे ख़यालों की परी हो क़े नहीं
कहीं पहले की तरह फिर तो खो जाओगी
जो हमेशा के लिये हो वो खुशी हो की नहीं । 

[Composer : Roshan,  Singer : Md. Rafi,  Production House : Shri Vishwabharthi Films,   Director : P.L.Santoshi,  Actor : Bharat Bhushan, Madhu Bala]

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